अब सरकारी स्कूल भी हाईटेक होने होने लगे हैं, कोई बच्चा कब स्कूल पहुंचा, कब वापस गया। इसका संदेश फौरन परिजनों काे मोबाइल पर मिलेगा। इस नई तकनीक की शुरुआत सूबे के पहले सरकारी सीनियर सेकेंडरी गर्ल्स स्कूल भीखी से हुई है। यह पहल कदमी स्कूल प्रिंसिपल प्रीतइंदर घई ने स्कूल स्टाफ के सहयोग और शिक्षा विभाग द्वारा दिए प्रोत्साहन के बाद की है।
वह स्कूल लगने से पहले 10वीं और 12वीं कक्षा के बच्चों की एक्स्ट्रा क्लास भी लेते हैं। स्कूल की खास बात है कि यहां अध्यापकों के साथ बच्चों की हाजिरी भी बायोमैट्रिक से लगती है। हर क्लास में सीसीटीवी कैमरा, स्मार्ट प्रोजेक्टर और ई-कंटेट द्वारा पढ़ाई कराई जाती है।
इसके अलावा आधुनिक कंप्यूटर लैब, स्लोगन के साथ रंगा हुआ हर कोना, वर्किंग विज्ञान मॉडल, 100 प्रतिशत नतीजे, खेल, सभ्याचार आदि में अच्छी कारगुजारी है। पंजाबी बोली को समर्पित लाइब्रेरी स्कूल की रुह है। स्कूल में 500 से अधिक स्टूडेंट्स पढ़ाई कर रहे हैं। शुक्रवार को स्कूल पहुंचे शिक्षा विभाग के अधिकारी ने भी इसकी प्रशंसा की।